मुख्य सचिव श्री ओम प्रकाश की अध्यक्षता में सोमवार को सचिवालय स्थित वीर चन्द्र सिंह गढ़वाली सभागार में जीएसडीपी का 2 प्रतिशत अतिरिक्त ऋण सुविधा प्राप्त किए जाने के संबंध में बैठक आयोजित की गई। बैठक में अवगत कराया गया कि भारत सरकार के वित्त मंत्रालय द्वारा निर्धारित 04 क्षेत्रों में सुधार करने पर उत्तराखण्ड को राज्य की कुल जीएसडीपी का 2 प्रतिशत लगभग रू0 4600 करोड़ अतिरिक्त ऋण सुविधा प्राप्त की जा सकती है। इसके लिए राज्य को ईज ऑफ डूइंग बिजनेस के अंतर्गत जिला स्तर के बिजनेस रिफॉर्म, नवीनीकरण की प्रक्रिया को पारदर्शी बनाया जाना अथवा समाप्त किया जाना, वन नेशन वन राशन कार्ड, शहरी निकायों के सुदृढ़ीकरण से संबंधित रिफॉर्म्स तथा पावर सेक्टर से संबंधित रिफॉर्म्स दिसम्बर 2020 तक करने हैं।
मुख्य सचिव श्री ओम प्रकाश द्वारा निर्देश दिए गए कि सभी विभाग अपने विभागों से संबंधित रिफॉर्म्स को निर्धारित समय में पूरा करें। सभी कार्यों को समय से पूरा किया जा सके इसके लिए ठोस एक्शन प्लान तैयार किया जाए। उन्होंने कहा कि एक्शन प्लान के अनुसार प्रगति की लगातार समीक्षा भी की जाए। उन्होंने प्रत्येक जनपद में फॉरेस्ट लैंड सेटलमेंट ऑफिसर नियुक्त किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इससे फॉरेस्ट लैंड के मामलों के निस्तारण में तेजी आएगी। उन्होंने रजिस्ट्री के बाद होने वाले म्यूटेशन (दाखिल-खारिज) में हो रही देरी पर नाराजगी व्यक्त करते हुए इसमें तेजी लाने के भी निर्देश दिए।
मुख्य सचिव ने कहा कि वन नेशन वन राशन कार्ड योजना के अंतर्गत कार्य में तीव्रता लाते हुए आधार सीडिंग का कार्य 20 अक्टूबर तक पूर्ण कर लिया जाए। बताया गया कि वर्तमान में लगभग 98 प्रतिशत राशन कार्डो की आधार सीडिंग की जा चुकी है। उन्होंने कहा कि शिक्षा के क्षेत्र में प्ले स्कूल, हॉस्टल की स्थापना, सीबीएसई हेतु एनओसी एवं शिक्षा के अधिकार के तहत स्कूलों के रजिस्ट्रेशन हेतु ऑनलाईन पॉर्टल कार्य में तेजी लायी जाए। उन्होंने अधिकारियों/कर्मचारियों को इन सभी विषयों में तेजी लाने हेतु सभी जनपदों में वर्कशॉप आयोजित करने के निर्देश दिए।
मुख्य सचिव ने सभी विभागों को अपने स्तर पर रिफॉर्म्स की मॉनिटरिंग करें तथा मुख्य सचिव कार्यालय एवं अपर मुख्य सचिव, सूक्ष्म लघु मध्यम उद्यम को इस संबंध में निरंतर प्रगति से अवगत कराए जाने के भी निर्देश दिए। उन्होंने सभी विभागों को समय सीमा निर्धारित किए जाने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि भारत सरकार द्वारा निर्धारित मानकों के अनुसार समय सीमा के अंतर्गत अनुपालन पूर्ण कर भारत सरकार को प्रेषित कर दिये जायें, ताकि जीएसडीपी के सापेक्ष 2 प्रतिशत अतिरिक्त धनराशि की उपयोगिता हेतु राज्य को पर्याप्त समय मिल सके।
बैठक में अपर मुख्य सचिव श्रीमती मनीषा पंवार ने अवगत कराया कि सभी विभागाध्यक्ष टाईमलाईन के अन्तर्गत रिफार्म के कार्यो को पूरा कर लें ताकि राज्य को प्राप्त होने वाला 02 प्रतिशत अतिरिक्त ऋण सुविधा प्राप्त हो सके।
बैठक में सचिव श्री नितेश झा, श्रीमती राधिका झा, श्री दिलीप जावलकर, श्रीमती सौजन्या एवं श्री हरवंश सिंह चुघ सहित सम्बन्धित विभाग के अधिकारी उपस्थित थे।