आज अमेरिकी समकक्ष एंटनी ब्लिंकन से मिलेंगे जयशंकर, दोनों नेताओं में कनाडा विवाद पर हो सकती है चर्चा

नई दिल्ली, कनाडा और भारत के बीच राजनीतिक संकट अब गहराता जा रहा है। हरदीप सिहं निज्जर की हत्या पर कनाडाई पीएम द्वारा लगाए गए आरोपों पर भारत ने कड़ी प्रतिक्रिया दी थी। विवाद गहराने पर अमेरिका समेत कई और देशों के बयान भी सामने आए हैं।

  • 1- भारत और कनाडा के बीच उपजे विवाद के बाद अमेरिका ने कहा था कि वो इस मुद्दे पर भारत के संपर्क में है। इस बीच आज अमेरिकी विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने एक बार फिर कहा कि वो भारत से बात कर रहा है और उसने भारत को जांच में सहयोग देने की बात कही है।
  • 2- जयशंकर और अमेरिकी विदेश मंत्री आज मुलाकात करने वाले हैं। इससे पहले क्वाड मंत्रिस्तरीय बैठक के दौरान भी दोनों की मुलाकात हुई थी, लेकिन कनाडा विवाद पर कोई चर्चा नहीं हुई क्योंकि वो द्विपक्षीय वार्ता नहीं थी। उस बैठक में जापान और ऑस्ट्रेलिया के विदेश मंत्री भी मौजूद थे।
  • 3- अमेरिका ने इससे पहले कहा था कि निज्जर हत्याकांड की निष्पक्ष जांच होनी चाहिए और भारत को इसमें सहयोग करना चाहिए।
  • 4- इससे पहले न्यूयॉर्क में एक प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए जयशंकर ने कहा था कि भारत ने कनाडा को साफ तौर पर कह दिया है कि निज्जर केस में उसका कोई हाथ नहीं है।
  • 5- जयशंकर ने यह भी कहा कि भारत ने कनाडा से यह भी कहा था कि आरोप सच है तो वो सबूत दे, लेकिन उसने सबूत नहीं दि
  • 6- जयशंकर ने इसी के साथ कनाडा को आड़े हाथ लेते हुए कहा था कि वहां उग्रवाद, संगठित अपराध और अलगाववादी ताकतों को बढ़ावा मिल रहा है।
  • 7- विदेश मंत्री ने संयुक्त राष्ट्र महासभा में भी कनाडा पर परोक्ष हमला बोला था। जयशंकर ने कहा था कि संयुक्त राष्ट्र के सदस्य देशों को आतंकवाद के खिलाफ एकजुट होना होगा और इस पर राजनीति नहीं करनी चाहिए।
  • 8- कनाडाई राजदूत बॉब राय ने यूएनजीसी बैठक के बाद दावा किया था कि उनकी भारतीय समकक्ष रुचिरा कंबोज ने उनसे संपर्क कर कहा था कि उन दोनों को मिलकर काम करना होगा, क्योंकि दोनों देशों की सरकारें मिलकर इसका हल निकाल रही है।
  • 9- कनाडा ने सबसे पहले खालिस्तानी आतंकी निज्जर की हत्या के मामले में भारत का हाथ होने की बात कही थी। कनाडाई पीएम जस्टिन ट्रूडो ने दावा किया था कि इसको लेकर कनाडा भारत को पहले ही सबूत दे चुका था।
  • 10- कनाडा ने आरोप लगाने के साथ ही भारतीय राजदूत को निष्कासित कर दिया था, जिसका पलटवार करते हुए भारत ने भी कनाडा के राजदूत को 5 दिन में देश छोड़ने को कह दिया था। इसके बाद भारत ने कनाडा में वीजा सेवाओं को निलंबित कर दिया था।

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