जम्मू-कश्मीर: आतंकियों ने बैंक की कैश वैन से लूटे 60-80 लाख

दक्षिण कश्मीर में शोपियां के टॉक मोहल्ला स्थित जम्मू-कश्मीर बैंक के पास से आतंकियों ने बैंक की कैश वैन से रुपये लूट लिए। पुलिस के मुताबिक लूटी गई राशि 60-80 लाख रुपये तक है। फिलहाल, बैंक अधिकारियों द्वारा रकम की पुष्टि का इंतजार है।

पुलिस ने बताया कि कुछ अज्ञात बंदूकधारियों ने शोपियां के टॉक माेहल्ले में स्थित जम्मू-कश्मीर बैंक की मुख्य शाखा से निकली कैश वैन पर अचानक से हमला कर दिया। बंदूक की नौक पर आतंकवादियों ने वैन में रखी सारी नकली निकाली और चंपत हो गए। पुलिस ने बताया कि वारदात में करीब चार आतंकी शामिल थे। वैन में 60-80 लाख रुपये बताए जा रहे हैं हालांकि बैंक अधिकारियों ने अभी तक इसकी अधिकारिक तौर पर पुष्टि नहीं की है। इस घटना के बाद पुलिस व सेना के जवान तुरंत घटना स्थल पर पहुंच गए और उन्होंने आसपास के इलाकों में आतंकवादियों की तलाश शुरू कर दी है। अन्य विवरण प्रतीक्षारत है।

बडगाम में पुलिसकर्मी की हत्या: बडगाम में एक लापता पुलिसकर्मी का शव वीरवार को पेड़ से लटका मिला। उसके दोनों हाथ भी बंधे हुए थे। पुलिस ने हत्या व अगवा का मामला दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी है। पुलिस प्रवक्ता ने बताया कि जम्मू-कश्मीर पुलिस में आईआरपी की 21वीं वाहिनी का एक कांस्टेबल मोहम्मद अशरफ बुधवार की रात को अचानक गायब हो गया था। वह बडगाम जिले के अरचंद्रहामा, मागाम का रहने वाला था। बीते कुछ समय से उत्तरी कश्मीर के परिहासपोरा पट्टन में तैनात था। उसके लापता होने का पता चलते ही उसे कई जगह तलाश किया गया। उसका फोन भी स्विच ऑफ था।

आज सुबह मागाम से कुछ ही दूरी पर बटपोरा कनिहामा गांव के बाहरी छोर पर स्थानीय लोगों ने एक युवक का शव पेड़ से लटका देखा। उन्होंने उसी समय पुलिस को सूचित किया। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को अपने कब्जे में लिया। दिवंगत की पहचान लापता पुलिसकर्मी के रुप में हुई है। उसके चेहरे और शरीर के विभिन्न हिस्सों में यातनाएं दिए जाने और पीटे जाने की निशान थे। उसके दोनों हाथ भी पीछे बंध हुए थे और गले में फंदा डाला गया था। पुलिस के अनुसार, जिस हालात में शव मिला है, उससे साफ होता है कि मोहम्मद अशरफ की हत्या करने से पहले उसे यातनाएं दी गई हैं।

शव को पोस्टमार्टम के बाद उसके परिजनाें के हवाले कर दिया गया है। संबधित पुलिस अधिकारियों ने बताया कि मोहम्मद अशरफ की हत्या की गुत्थी सुलझाने के लिए एसआईटी का गठन किया गया है। हत्या में आतंकियों का हाथ होने से इंकार नहीं किया जा सकता, लेकिन अन्य कई बिंदुओं को भी ध्यान में रखते हुए जांच का दायरा बढ़ाया जा रहा है।उसके मोबाइल फोन की कॉल डिटेल भी जमा की जा रही है ताकि यह पता चल सके कि मरने से पहले उसने किससे बातचीत की थी, उसके साथ बीते कुछ दिनों से कौन लोग संपर्क में थे। उसके परिजनों से भी पूछताछ की गई है, लेकिन कोई भी उसके अचानक लापता होने या उसकी हत्या से जुड़ी कोई जानकारी उपलब्ध नहीं करा पाया है।

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